मेरी यादें, मेरा चेहरा, मेरी बातें रुलायेंगी, हिज़्र के दौर में, गुज़री मुलाकातें रुलायेंगी, दिन तो चलो तुम काट भी लोगे फसानों में, जहाँ तन्हा रहोगे तुम, तुम्हें रातें रुलायेंगी।
तेरी आँखों में सच्चाई की एक राह दिखाई देती है, तू है मोहब्बत का दीवाना ऐसी चाह दिखाई देती है, माना कि ठोकर खाई है जमाने में बेवफाओं से, पर तू आशिक है तुझमें मोहब्बत की चाह दिखाई देती है।